Student Ki Bur Ki Chudai – Teacher Student Sex Story in Hindi

Student Ki Bur Ki Chudai – Teacher Student Sex Story in Hindi

नमस्ते, मेरा नाम अजय है। ये कहानी मेरी और मेरी मंजू स्टूडेंट की बुर की चुदाई ( Student Ki Bur Ki Chudai ) की है।

मैं दिल्ली का रहने वाला हूं। मैं भी एक शिक्षक हूं. मेरी बहुत सी गर्लफ्रेंड रह चुकी है, पर इनमें से सबसे अच्छी और सुंदर है मंजू। 

वो द्वारका की रहने वाली है। वो मेरी स्टूडेंट भी थी. हमारी Teacher Student Sex Story in Hindi 2024 से जब मंजू ग्रेजुएशन द्वितीय वर्ष में थी, तब शुरू हुई।

वो पढने में अच्छी है. वो गोरी और करीब 5 फुट लम्बी है। अब थोड़ा अपने बारे में बता दु. मेरी ऊंचाई 5’6″ है। मेरा लंड 8 इंच लम्बा और 3 इंच मोटा है। 

मैं साँवले रंग का हूँ. मैं एक प्राइवेट कोचिंग भी चलाता हूं जिसमें मंजू कंचन, प्रिया, और बहुत सारे छात्र भी पढ़ने आते हैं। 

मंजू की दो बहनें और एक भाई भी मेरे पास ही पढ़ते हैं। 2024 में मंजू मेरे पास पहली बार पढने आयी थी। तभी मुझे उससे प्यार हो गया। 

पढते-पढते मुझे 6 महीने बीत गए। फिर मैंने उसे प्रपोज किया, और कुछ सोचने के बाद उसने एक्सेप्ट भी कर लिया। फिर शुरू हुई हमारी Bur Chudai Ki Kahani। 

1 महीने तक हम में वैसे ही नॉर्मल प्रेम रहा। इस बीच मैंने अपने घर पर ही मंजू को चोदने की बहुत कोशिश की, पर सफल नहीं हो पाया। क्योंकि वह बहुत नखरे करती थी। 

फिर एक दिन जब वो मेरे घर आई थी, तब मैंने मंजू से बोला-

मैं: तुम मेरे बारे में क्या चाहती हो?

मंजू: सर जी मैं आपसे शादी करना चाहती हूं। तब मैने उससे किस किया. मैं उसके होंठो को चूसने लगा। तभी तो वो भी मेरे होठों को चूसने लगी और हम दोनो बिस्तर पर लेट गए। 

मैं किस के साथ-साथ उसके स्तन दबा रहा था। वो भी मज़े ले रही थी जब मैं चुची दबा रहा था। तभी मैंने उसकी ब्रा खोल दी और चुची के निप्पल को दबाने लगा। 

फिर मैंने अपने मुँह उसकी चुची पर ले जाकर निप्पल को मुँह में ले लिया और पीने लगा। वो सिसकारियाँ भरने लगी। फिर मैंने उसकी लेगिंग को नीचे किया, और अब वो मेरे सामने केवल पैंटी में लेटी हुई थी। 

मैं उसकी चुची को पी रहा था, और उसे मसल रहा था। फिर मैंने उसकी पैंटी को नीचे किया। मंजू की बुर पर कोई बल नहीं था।

एक-दम साफ थी। मेरे तो लंड से पानी निकल गया. मैंने बिलकुल देर ना करते हुए मंजू की बुर पर मुंह लगा दिया, और ज़ोर-ज़ोर से चूसने लगा। 

मंजू एक-दम से बोली: नहीं, मुंह मत लगाओ। पर उसकी बॉडी उसके साथ नहीं दे रही थी। उसने अपने दोनो पैर फेल दिए, और मैने उसकी बुर में अपनी जीभ डाल दी। 

उसकी बुर एक-दम सील पैक थी। फिर हम दोनो ६९ की पोजीशन में हो गए। मंजू ने मेरे लंड को अपने मुँह में ले लिया और चूसने लगी। 

करीब 15 मिनट में मैंने उसकी बुर को चूसा, जब तक उसकी बुर ने मेरे मुँह में ही पानी नहीं छोड़ा। उसके १ मिनट बाद मेरे लंड ने उसके मुँह में ही पिचकारी मार दी। 

उसका मुँह मेरे वीर्य से भर गया। उसने मेरे वीर्य को पहली बार मुँह में लिया था, इस वजह से कुछ देर के बाद उसने उल्टी की। उस दिन हमारी चुदाई नहीं हो पाई। 

अब हम दोनो के बीच सब ठीक-ठाक चल रहा था। मैं रोज कॉलेज छोड़ने जाता था। इस बीच मेरी शादी हुई जिससे मंजू खुश नहीं थी। 

फिर मैंने उसे समझाया कि ये सब दिखाना था, और मैं प्यार तो उसी से करता था। फिर मैंने अपनी बीवी को करीब 6 महीने तक चोदा, जो पहले से चुदी हुई थी। 

उसके बाद वो अपने मायके चली गई कुछ दिन के लिए। क्या मुझे मंजू को चोदने का मौका नहीं मिला? बीपीएससी सहायक की परीक्षा मैंने और मंजू ने एक साथ ही भरा था। 

हम दोनो का एग्जाम एक ही शहर में था। उस समय मंजू ने खुद से चुदवाने के लिए बोला तो मैंने कहा ठीक है। हमने चुदाई का सारा प्रबंध कर लिया था। 

लेकिन आखिरी क्षण पर पता चला कि उसकी बहन भी साथ जा रही थी। अब हमारी चुदाई का सारा प्रोग्राम फेल हो गया है और नज़र आ रहा है। हम सभी एक ही साथ गये। 

फिर हमने सुबह की शिफ्ट में एग्जाम दिया। उसके बाद हम इधर-उधर घूमने चले गए। इस सबके दौरान उसकी बहन हमारे साथ ही थी। फिर हमने द्वारका के लिए ऑटो लिया। 

ऑटो में वो थोड़ी देर मेरे लंड को सहला रही थी। फिर हम द्वारका पाहुंच गये। मैं अपने घर आ गया.

अब असली कहानी यहाँ से शुरू होती है। 

मंजू की परीक्षा क्लियर हो गई और उसको चंडीगढ़ के लिए इंटरव्यू के लिए बुलाया गया। उसने मुझे ये बता दिया था. मैंने 10 दिन पहले चंडीगढ़ की रिजर्वेशन 2 टिकट करवा ली थी। 

फिर हम दोनो यहाँ से चले और सुबह में ट्रेन पकड़ी। करीब 9 बजे रात को हम चंडीगढ़ पहुंच गए और जाते ही हमने होटल में खाना खाया। 

हमने एक होटल में कमरा बुक किया था जो कि स्टेशन के पास ही था थोड़ी दूरी पर। मैं और मंजू थके हुए थे, तो उस समय हम सो गए। करीब 12 बजे मेरे मोबाइल पर फ़ोन आया, तो मैं जाग गया। 

पर मैंने फ़ोन नहीं उठाया. लेकिन मेरी नींद खुल गयी थी। फिर मैंने मंजू को जगाया और दोनों पानी से मुँह धो कर आये। आते ही मैंने उसे किस करना शुरू कर दिया, और उसके कपड़े उतारना भी। 

मैंने बिलकुल नंगा कर दिया, और मंजू की बूर पर टूट पड़ा बिलकुल भूखे शेर की तरह। मैंने उसकी बुर को मुँह में लेकर चूसना शुरू किया, और वो मेरे लंड को चूसने लगी। 

10 मिनट में ही उसकी बुर से पानी निकला, और मैं मंजू की बुर के अमृत को पी गया। मंजू ने मेरा लंड चूसने की वजह से मेरा वीर्य गिरने ही वाला था, कि नने उसके मुँह से लंड निकाल दिया। फिर उसने बोला-

मंजू: आज मुझे छोड़ दो आह.

देर ना करते हुए मैंने अपना लंड उसकी बुर के छेद पर रख दिया, और अंदर डालने लगा। पर मेरा लंड इतना मोटा है कि अंदर ही नहीं जा रहा था। 

तभी मैंने पहली बार उसकी बुर पर लंड रखकर एक ज़ोर का झटका मारा, जिसका लंड करीब 5 इंच तक बुर में घुस गया। 

वो चिल्ला उठी. उसके बुर से खून निकल रहा था, जो मेरे लंड पर लगा हुआ था। मंजू की बुर की सील टूट गई थी। 

तो वो बोली: डालो, पर आराम से। फिर मैं आराम-आराम से धीरे-धीरे मंजू को चोदने लगा। थोड़ी देर बाद उसने बोला कि पूरा डालिए ना। 

तब मैंने जोश में आकर ज़ोर का झटका मारा जिससे मेरा पूरा लंड उसकी बुर में घुस गया। उसने सिसकारियां लेना शुरू कर दिया। मैं भी मंजू को ज़ोर-ज़ोर से चोदने लगा। 

वो भी अपनी गांड उठा-उठा कर चुदवाने लगी। कुछ 30 मिनट की चुदाई के बाद उसकी बुर ने पानी छोड़ दिया, जब कि मेरा वीर्य अभी नहीं निकला था। 

मैं मंजू को छोड़ता जा रहा था। बुर के पानी छोड़ देने से चुदाई करते समय मंजू की बुर से चप-चप की आवाज आ रही थी। 

अगले 30 मिनट तक चोदने के बाद मेरा वीर्य मंजू के बुर में ही गिर गया, जिसकी मंजू का बुर पूरा भर गया था। मैने 12 बजे रात से लेकर 4 बजे भोर तक उसे चोदा। 

वो हमेशा मेरे लंड को अपनी बुर में डाल कर रखती है। जब भी लंड बुर में से निकल जाता है, वो अपने मुँह में लेकर, खड़ा करके, फिर उसको बुर में डाल लेती है।

इस प्रकार मैंने मंजू को रात भर में 12 बार चोदा। हर बार मैंने वीर्य उसकी बुर में डाला, जिसका गर्भभ्रष्ट भर गया। फिर सुबह उसने अपना इंटरव्यू दिया, और शाम को हम दोनों ने ट्रेन पकड़ ली, और वापस आ गए। 

अब वो पटना में रहती है. अब जब भी वो अकेले अपने फ्लैट में होती है, तो मैं उसे छोड़ता हूँ, वो भी रात भर। मैंने कभी कंडोम का प्रयोग नहीं किया, और ना ही मंजू ने मुझे कहा। 

वो हमेशा ही मेरा वीर्य बुर में लेती है, नहीं तो मुँह में लेकर पी जाती है। मेरी Desi Kahani पढ़ने के लिए धन्यवाद.

This will close in 0 seconds

Don't Copy